उच्च न्यायालय, झारखंड के निर्देशानुसार शहरी नगर निकाय क्षेत्र में ओबीसी के आरक्षण हेतु ट्रिपल टेस्ट हो रही है। जिसमें कई अनियमिततायें उजागर हो रही है। जिससे ट्रिपल टेस्ट का डाटा सही प्राप्त नहीं हो सकेगा। उक्त आशय का एक मांग पत्र राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के सचिव के नाम एक ज्ञापन सौंपा। उक्त आशय की जानकारी देते हुए राष्ट्रीय ओबीसी मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष राजेश कुमार गुप्ता ने कहा कि शहरी नगर निकाय के चुनाव में आरक्षण के लिए ट्रिपल टेस्ट के लिए सर्वेक्षण करने वाले कर्मी घर घर जाकर सर्वेक्षण ना कर मोबाइल से कॉल कर कर रहे हैं। जिसमें सिर्फ उनकी जाति पूछी जा रही है। कोई काउंटर क्वेश्चन नहीं हो रही है।
दूसरी तरफ न्यायालय के निर्देशानुसार ट्रिपल टेस्ट ओबीसी समुदाय का करना है। लेकिन जो प्रारूप के माध्यम से सर्वे किया जा रहा है उसमें अन्य वर्गों को भी शामिल किया गया है।
प्रदेश महासचिव आजम अहमद ने कहा कि ट्रिपल टेस्ट तभी सफल हो सकता है जब ओबीसी समुदाय का सर्वेक्षण घर-घर जाकर किया जायेगा। इसलिए ओबीसी का सर्वेक्षण घर-घर जाकर किया जाए जिससे सही डाटा उपलब्ध हो सकेगा।
अन्यथा सही समय पर डाटा उपलब्ध नहीं हो पायेगी और शहरी नगर चुनाव ओबीसी की हकमारी हो जायेगी।
ज्ञापन सौंपने वालों में प्रदेश अध्यक्ष राजेश कुमार गुप्ता के साथ प्रदेश उपाध्यक्ष दिलीप वर्मा महासचिव आजम अहमद, छात्र मोर्चा संयोजक कमलेश चौधरी, संतोष सोनी, परवेज अहमद, मोईन अंसारी, दीनानाथ प्रसाद, इमरान आलम उपस्थित थे।